एक पाठक के नोट्स | कुबेर दत्त | समीक्षा | ई-बुक

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  • लेखक : कुबेर दत्त
  •  पृष्ठ  : 96

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कुबेर दत्त का व्यक्तित्व बहुआयामी रचनात्मक प्रतिभा से सम्पन्न था। मूल रूप से वे कवि होने के अलावा एक विशिष्ट गद्यलेखक, संस्मरणकार एवं चित्रकार भी हैं। ‘एक पाठक के नोट्स’ कुबेर दत्त के उन समीक्षापरक आलेखों का संकलन है जो साहित्यिक पत्रिका ‘कल के लिए’ में 1999 से 2011 यानी उनकी मृत्यु से कुछ समय पूर्व पर्यन्त प्रकाशित होते रहे। कुबेर दत्त में साहित्यिक, सांस्कृतिक कर्म के प्रति एक दुर्लभ किस्म की संवेदनशीलता थी। रचनाकर्म के प्रति उनकी उसी संवेदनशीलता की बानगी है ‘एक पाठक के नोट्स’। वे बड़ी सहजता से उल्लेखनीय रचनाओं, पुस्तकों के कथ्य और रचनाकार की शख़्सियत पर चर्चा करते हुए पाठकों को इस दुनिया की व्यवस्था और पेचोखम से अवगत कराते हैं। समकालीन विषयों के साथ ही कविताओं, ग़ज़लों और फ़िल्मों की विवेचना भी वे उसी सरल कौशल से करते हैं।

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